राजधानी दिल्ली की सड़कों पर अक्सर लोग टशन में आकर गाड़ियां चलाते हैं। इस कारण कई बार भी दुर्घटनाएं भी होती है। हालांकि यहां पर सभी गाड़ियों की स्पीड लिमिट तय की गई है लेकिन इसके बावजूद लोग इन नियमों का पालन नहीं करते हैं। नतीजतन, उन्हें भारी चालान भरना पड़ जाता है। अगर आप भी तेज वाहन चलाते हैं और आपको इसकी जानकारी नहीं है कि किन सड़कों पर कितनी स्पीड लिमिट की गई है तो आइए आपको इसके बारे में बताते हैं-

बता दें कि दिल्ली ट्रैफिक पुलिस ने एक लिस्ट जारी की थी जिसमें ये बताया गया था कि राजधानी दिल्ली के अलग-अलग सड़कों पर कौन-सा वाहन किस स्पीड के साथ चलाया जा सकता है।
वाहनों की अधिकतम स्पीड लिमिट
- कार-जीप-टैक्सी-कैब- 60 किमी/घंटा से 70 किमी/घंटा की अधिकतम स्पीड
- टू व्हीलर वाहनों की अधिकतम स्पीड- 50 से 60 किमी/घंटा (ज्यादातर इलाकों में स्पीड लिमिट 70 किमी/घंटा है )
- ऑटो-टैम्पो या तीन पहिया वाहन- अधिकतम 40 किमी/घंटा
विभिन्न सड़कों पर अधिकतम स्पीड लिमिट
- डीएनडी पर कार के लिए स्पीड लिमिट 70 किमी/घंटा और दोपहिया वाहनों के लिए 60 किमी/घंटा।
- बारापुला फ्लाईओवर पर कार और बाइक दोनों के लिए स्पीड लिमिट 60 किमी/घंटा।
- दिल्ली से नोएडा टोल पर कार ड्राइव करते समय स्पीड लिमिट 70 किमी/घंटा, वहीं दुपहिया वाहनों के लिए स्पीड लिमिट 60 किमी/घंटा।
- एयरपोर्ट रोड पर कार और बाइक की स्पीड लिमिट 60 किमी/घंटा
- सभी रिहायशी और कमर्शियल मार्केट में अंदर की सड़कों पर कार और बाइक की अधिकतम स्पीड लिमिट 30 किमी/घंटा।
दिल्ली का कौन-सा स्थान है ब्लैक स्पॉट
दिल्ली पुलिस ने रिंग रोड और आउटर रिंग रोड पर सबसे अधिक सड़क दुर्घटनाओं के कारण इसे ब्लैक स्पॉट के रूप में चिन्हित किया है। दिल्ली की इन दो सबसे व्यस्त सड़कों में से एक रिंग रोड पर साल 2020 में 287 सड़क दुर्घटनाएं हुई, जिनमें 88 लोगों की मौत हो गई, जबकि आउटर रिंग रोड पर हुई 256 दुर्घटनाओं में से सौ से अधिक लोगों की मौत हुई। इसके अलावा, आजादपुर चौक और पंजाबी चौक को ब्लैक स्पॉट की श्रेणी में शीर्ष स्थान पर रखा गया है। वहीं, अन्य सबसे अधिक संवेदनशील क्षेत्रों में भलस्वा चौक, मुकरबा चौक, बुराड़ी चौक और मजनू का टीला को रखा गया है। इन स्थानों पर भी अधिक सड़क दुर्घटनाएं देखी गई है।