आवारा पशुओं से करे खेत की रखवाली, राजस्थान तारबंदी योजना 40000 रूपए तक का अनुदान पाए

डर निकालो खौफ हटाओ,
आवारा पशुओं से नहीं डरना।
तारबंदी योजना का लाभ उठाओ,
आधी कीमत पर आवेदन करना।

किसान भाइयों नमस्कार। किसान भाइयों हम पूरी कोशिश करते हैं कि आपको हर सरकारी योजना की जानकारी दी जाए ताकि आप हमारे देश में होने वाली सभी सरकारी योजनाओं का पूरा लाभ उठा सको। आज हम आपके लिए राजस्थान की एक और सरकारी योजना लेकर आए हैं जिसका नाम है राजस्थान तारबंदी योजना।

इस योजना के तहत सरकार किसान भाइयों को खेत के चारों तरफ बाड करने हेतु सहायता राशि उपलब्ध करवाती है जिससे आवारा पशुओं से फसल को बर्बाद होने से बचाया जा सके। इस योजना के तहत सरकार लागत की 50% सहायता राशि किसान को देती है।

इस योजना के अंतर्गत कौन-कौन से किसान पात्र होंगे :

1. राजस्थान का स्थाई निवासी होना चाहिए।
2. इस योजना का लाभ लेने के लिए किसान के पास कम से कम आधा हेक्टर कृषि योग्य भूमि होनी चाहिए।
3. इस योजना के तहत किसान को 50% सहायता राशि राज्य सरकार द्वारा दी जाएगी।
4 वित्तीय राशि किसानों के खाते में प्रदान की जाएगी।
5 पहले से ही किसी योजना का लाभ उठा रहे हैं तो आप इस योजना का लाभ नहीं उठा सकते।

छोड़ो कल की बातें
कल की बात पुरानी
अनुदान लो और आगे बढ़ो।
बात है यह सयानी।
हम राजस्थानी, हम राजस्थानी।

तारबंदी योजना हेतु दस्तावेज:

आधार कार्ड,

राशन कार्ड और जमीन की जमाबंदी।

भामाशाह कार्ड,

बैंक पासबुक की फोटो कॉपी,

पासपोर्ट साइज रंगीन फोटो, ऑनलाइन आवेदन पत्र की मूल प्रति, नक्शा ट्रेस। यह सभी दस्तावेज हस्ताक्षर युक्त होने चाहिए।

तारबंदी योजना हेतु आवेदन ईमित्र पर जाकर या कृषि विभाग के ऑफिस में जाकर कर सकते हैं।

तारबंदी योजना के तहत मुख्य मुख्य बातें:

  • एक किसान को अधिकतम 400 मीटर की तारबंदी का अनुदान देय होगा।
  • अनुदान राशि अधिकतम 40000 रूपए तक मिलेगी।
  • बाड़ लगाने पर एक पोल 45 सेंटीमीटर जमीन के अंदर और डेढ़ सौ सेंटी मीटर जमीन के ऊपर होना चाहिए।
  • एक पोल से दूसरे पोल की दूरी 3 मीटर होनी चाहिए एवं आडे छ तार तथा दो खड़े क्रॉस तार खींचे हुए होने चाहिए।
  • तारबंदी जहां से शुरू करते हैं वापिस घूम कर वहीं पर आनी चाहिए अर्थात तारबंदी पूर्ण होनी चाहिए। यदि 400 मीटर से ज्यादा होगी तो स्वयं को खर्च वहन करना होगा।
    अनुदान राशि 400 मीटर रनिंग तक की तारबंदी पर अधिकतम 50% या 40000 रूपए तक ही मिलेंगे।
  • कम से कम 3 किसान जिनकी पास पास तीन हेक्टर भूमि हो तो 1.2 लाख रुपए या लागत का 50 फ़ीसदी अनुदान मिलेगा।

लेखक की कलम से : 

करती थी, करती है,
ज्यादा करने की दरकार है।
अन्नदाता के मर्म को समझो,
समझे तो सरकार है।

विद्याधर तेतरवाल, मोतीसर।

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